बेमेतरा । राज्य में जब से कांग्रेस पार्टी सत्ता में बैठे हैं, तब से सरकार की योजना का लाभ समाज के अंतिम व्यक्ति तक नहीं पहुंचने के कारण पूरा योजना ही फेल, छत्तीसगढ़ सरकार अपने ही योजनाओं को महत्वकांक्षी बताते हुए अपने स्वयं सरकार अपनी योजना पर बेहतर होने का ढिंढोरा पीट रहे हैं, तथा महत्वकांक्षी योजना का लाभ समाज के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाने में शासन प्रशासन जिम्मेदार अहम भूमिका होता है, जबकि समाज के अंतिम व्यक्ति तक योजनाओं का सही जानकारी, लाभ नहीं मिलना छत्तीसगढ़ सरकार अपने ही योजना के प्रचार प्रसार की कमी के कारण शहरी व ग्रामीण आम जनता के द्वार तक नहीं पहुंच रहे हैं, इसके लिए सत्ता पक्ष के विधायक मंत्री व शासन प्रशासन जिम्मेदार हैं, क्योंकि छत्तीसगढ़ सरकार शासन प्रशासन को नियंत्रण करने में भी फेल हो गए हैं, जिसके कारण योजनाओं ग्रामीण क्षेत्रों मे सही जानकारी उपलब्ध नहीं हो रहे हैं, सिर्फ फाइलों में ही सफल बता रहे हैं, इसी प्रकार भारतीय जनता युवा मोर्चा महामंत्री व पार्षद शिवझड़ी सिन्हा ने राज्य सरकार, शासन प्रशासन को आड़े हाथ लेते हुए बताया कि सरकार के योजना को शहर, ग्रामीण क्षेत्रों में व समाज के अंतिम व्यक्तियों तक योजनाओं का लाभ पहुंचाना शासन प्रशासन की महत्वपूर्ण भूमिका होती है, लेकिन छत्तीसगढ़ में सरकार के नियंत्रण में शासन प्रशासन अधिकारी कर्मचारी नहीं होने के कारण छत्तीसगढ़ सरकार कि कोई भी योजना सफल होते नजर नहीं आ रहे हैं, सिर्फ अपने आप में ही सफल होने का प्रमाण छत्तीसगढ़ सरकार खुद सफल होने का ढ़ीढोरा पीट रहे हैं। कि छत्तीसगढ़ सरकार का नरवा, गरवा, घुरवा, बाड़ी, गौधन न्याय योजना व रोका छेका योजना में करोड़ों अरबों रुपए खर्चा कर रहे हैं, लेकिन हकीकत में करोड़ों रुपए खर्च करने के बाद भी आम जनता तक योजना का लाभ नहीं मिलना विकास नहीं दिखना इसके लिए पूर्ण रूप से छत्तीसगढ़ सरकार जिम्मेदार हैं, गोधन न्याय योजना व रोका छेका योजना का कहीं देखने को नहीं मिल रहे हैं, आज बेमेतरा व बेरला शहर में ही जानवर( मवेशी )खुलेआम गली मोहल्ला चौक में घूमते बैठे नजर आ रहे हैं, जो पशु जानवर रोड में होने के कारण अनेकों बार है, दुर्घटना से उन लोगों की मृत्यु भी हो रहे हैं, जबकि रोका छेका में पशु जानवर को गौठान में सुरक्षित खाने-पीने का सारी व्यवस्था करने का जिम्मेदार राज्य सरकार की है, लेकिन बेमेतरा जिला में रोका छेंका योजना सिर्फ दिखावा के अलावा कुछ नहीं कर रहे हैं, इसी प्रकार गोधन न्याय योजना ग्रामीण व शहर में पूरी तरह फेल हो चुके हैं, क्योंकि गोबर खरीदने के लिए सरकार के पास पैसे नहीं है, जो पंचायतों में गोबर खरीदी बंद पड़े हैं, तथा ग्रामीण क्षेत्रों में व गोधन न्याय योजना पूरी तरह फेल हो चुके हैं।
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